चंडीगढ़,
07 मार्च, 2021
हरियाणा की जो भी ग्राम सभा अपने गांव में शराब का ठेका नहीं खुलवाना चाहती वह प्रस्ताव पास करके 15 मार्च 2021 तक अपने उपायुक्त के माध्यम से प्रदेश सरकार को भेज सकती है।
यह जानकारी हरियाणा के उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला ने आज यहां पत्रकारों से बातचीत करते हुए दी।
उन्होंने बताया कि कोरोना महामारी के कारण पिछले साल आबकारी-वर्ष एक अप्रैल की बजाए 19 मई 2020 से शुरू हुआ था जिस कारण इस बार 20 मई 2021 से शुरू होगा।
वर्तमान में प्रदेश की सभी ग्राम पंचायतें भंग की हुई हैं, ऐसे में जिस गांव के लोग अपने गांव में शराब का ठेका खुलने के पक्ष में नहीं हैं उस गांव की ग्राम सभा 15 मार्च तक अपना प्रस्ताव पास करके उपायुक्त के माध्यम से सरकार के पास भेज सकती है।
डिप्टी सीएम, जिनके पास आबकारी एवं कराधान विभाग का प्रभार भी है, ने पिछले दो वर्षों का विवरण सांझा करते हुए बताया कि शराब के ठेके बंद करवानें के लिए पंचायतों ने वर्ष 2019-20 में 3048 प्रस्ताव सरकार को भेजे गए थे जिनमें से मात्र 57 प्रस्तावों को स्वीकार किया गया था तथा 48 प्रस्ताव को रिजेक्ट कर दिया गया था, शेष को किसी ऑबजेक्शन के कारण छोड़ दिया गया।
उन्होंने बताया कि वर्ष 2020-21 के दौरान उपायुक्तों के माध्यम से 898 प्रस्ताव मिले थे जिनमें से 430 गांव ऐसे थे जहां शराब के ठेके खोलने पर पूर्ण प्रतिबंध लगा दिया था। उन प्रस्तावों में से 468 ऐसे केस भी थे जिनमें अवैध शराब की बिक्री से संबंधित पांच-पांच, छह-छह एफआईआर दर्ज हो चुकी थी जिनके कारण वहां शराब की बिक्री प्रतिबंधित करनी पड़ी थी।